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Saturday 15 July 2017

महिलाये की सेक्स शक्ति बढ़ाने में असरदार घरेलू नुस्खे


शतावरी का पौधा उत्तर भारत में अधिक पाया जाता है। इसकी जड़ औषधि की तरह इत्तेमाल की जाती है। इसके इस्तेमाल से शरीर में बल और वीर्य बढ़ाता है। यूं तो शतावरी स्त्री व पुरुष दोनों ही के लिए उपयोगी और लाभप्रद है लेकिन स्त्रियों के लिए विशेष रूप से गुणकारी व उपयोगी होती है।
क्या है शतावरी
शतावरी एक ऐसी औषधि है जिसे कई रोगों के इलाज में उपयोग किया जाता है, खासतौर पर सेक्स शक्ति को बढ़ाने में इसका विशेष योगदान होता है। इसका पौधा झाड़ी की तरह होता जिसमें फूल व मंजरियां एक से दो इंच लम्बे एक या गुच्छे में लगे होते हैं। इसका फल मटर के दाने जितना होता है जो पकने पर लाल रंग का हो जाता है। आयुर्वेद के मुताबिक शतावर के प्रयोग से पुराने से पुराने रोगी के शरीर में भी रोगों से लड़ने की ताक़त आ जाती है। इसके अलावा इसका उपयोग शरीर को पुष्ट और सुडौल बनाने में किया जाता है।

शतावरी को शुक्रजनन, शीतल, मधुर एवं दिव्य रसायन
रसायन माना जाता है। महर्षि चरक भी शतावरी को चिर यौवन को कायम रखने वाला मानते थे। आधुनिक शोध भी शतावरी की जड़ को हृदय रोगों में प्रभावी मानते हैं। शतावरी के लगभग 5 ग्राम चूर्ण को सुबह और रात के समय गर्म दूध के साथ लेना लाभदायक होता है। इसे दूध में चाय की तरह पकाकर भी लिया जा सकता है। यह औषधि स्त्रियों के स्तनों को बढ़ाने में मददगार होती है। इसके अलावा शतावरी के ताज़ा रस को 10 ग्राम की मात्रा में लेने से वीर्य बढ़ता है। शतावरी मूल का चूर्ण 2.5 ग्राम को मिश्री 2.5 ग्राम के साथ मिलाकर पांच ग्राम मात्रा में रोगी को सुबह शाम गाय के दूध के साथ देने से प्रमेह, प्री-मैच्योर इजेकुलेशन (स्वप्न-दोष) में लाभ मिलता है। यही नहीं शतावरी की जड़ के चूर्ण को दूध में मिलाकर सेवन करने से धातु वृद्धि भी होती है।

यदि आप पहले से किसी चिकित्सकीय स्थिति जैसे, अवसाद या तनाव, गर्भावस्था आदि से गुजर रहे हैं तो आपको इसे लेने से पहले डॉक्टर से परामर्श जरूर ले लेना चाहिए।

1 comment:

  1. Thanks for sharing home remedies. In addition you can try out herbal supplement to get permanent relief from sexual issues.visit http://www.fezinil.com/

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